Friday, August 26, 2011

पाक में हिन्दुस्तानी समाधियों पर फेंका जा रहा कूड़ा

अमृतसर . शौर्य तथा पराक्रम से हिंदुस्तान का गौरव बढ़ाने वाले महाराजा रणजीत सिंह के वंशजों की समाधियों से पाकिस्तान में बेअदबी होने लगी है। लाहौर स्थित महाराजा के बेटे महाराजा शेर सिंह की समाधि को कचरा खपाने के लिए इस्तेमाल किया जाने लगा है। भारतीय इतिहासकारों ने वहां के पुरातत्व विभाग को पत्र भेजकर आपत्ति जताई है।
महाराजा रणजीत सिंह की पारिवारिक समाधियां : लाहौर शहर से करीब साढ़े तीन किलोमीटर बाहर की तरफ कोट ख्वाजा सैयद (शाह बहलोल) इलाके में तकरीबन पांच किल्ले रकबे में महाराजा की दूसरी पीढ़ी के लोगों की समाधियां बनीं थीं।
यह वही स्थान है, जहां पर महाराजा शेर सिंह तथा उनके बेटे टिक्का प्रताप सिंह की हत्या हुई थी। इसी जगह पर उन लोगों का संस्कार किया गया। इसके बाद रानी प्रताप कौर तथा रानी धर्म कौर का भी यहीं पर संस्कार किया गया। यहां पर इनकी समाधियां भी बनाई गईं। यह स्थल ऐतिहासिक, पुरातात्विक अहमियत के साथ-साथ भित्ति चित्र कला का भी नायाब नमूना था।
पीएचसीए के पास पहुंची शिकायत : भारतीय इतिहासकार सुरेंद्र कोछड़ तथा पुरातत्वविद अनीता सरीन ने पार्क एंड हॉर्टीकल्चर अथॉरिटी ऑफ पाकिस्तान के डायरेक्टर जावेद शाहिदा को पत्र लिख कर भारतीय आस्था और गौरव की प्रतीक इन धरोहरों की बेअदबी रोकने की मांग की है। कोछड़ ने बताया कि जिस तरीके से पाकिस्तान में सिख विरसे से जुड़ी हुई धरोहरों के बेकदरी हो रही है, वह दुखद तो है ही बल्कि दोनों मुल्कों के आपसी संबंधों में भी तल्खी ला सकती है।
पाक नहीं मानता विरासत
लाहौर वेस्ट मैनेजमेंट कंपनी के डिस्ट्रिक अधिकारी रफीक जतोई ने ‘दैनिक भास्कर’ को फोन पर बताया कि यह स्थल धरोहर नहीं है, क्योंकि जो साइटें यूएनओ की सूची में आती हैं, वह उन्हें ही विरासत मानते हैं। वे जो भी काम कर रहे हैं वह नियम और कानून के दायरे में रहकर कर रहे हैं।
कब्जे से हुई शुरुआत
पहले इस स्थल की चहारदीवारी पर पास स्थित नवाज शरीफ अस्पताल ने कब्जाया फिर धीरे-धीरे यहां पर कचरा फेंका जाने लगा। इसके बाद लाहौर वेस्ट मैनेजमेंट कंपनी ने पहले तो अन्य समाधियों व स्मारकों पर कचरा फेंका और अब महाराजा शेर सिंह की समाधि स्थली (बारादरी) पर कूड़ा फेंकना जाने लगा है। वहां रह रहे सिख परिवारों का कहना है कि वे डर के मारे आवाज नहीं उठा पाते। अब हालात ये हैं यह स्थल पूरी तरह से कचरे से अट चुका है।


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