Friday, July 24, 2015

भागवत गीता को केवल पूजा घर में न रखें बल्कि इसके उपदेशों को अंत:करण में उतारें-गजपति महाराज


भुवनेश्वर : स्थानीय सूचना भवन में एक भव्य समारोह में श्रीमद् भागवत गीता के एक सरल संस्करण का विमोचन ओडिया भाषा में किया गया। जिसका विमोचन गजपति महाराज दिव्य सिंह देव ने किया। सरला दास द्वारा रचित संस्कृत श्रीमद्भागवत गीता के अंशों से संकलित इस पुस्तक का संकलन श्रीमती मंजू राय ने किया है। पुस्तक का विमोचन करते हुए गजपति महाराज ने लोगों से आह्वान किया कि श्रीमद़् भागवत गीता को केवल पूजा घर में न रखें बल्कि इसके उपदेशों को अंत:करण में उतारें। आत्मशुद्धि के लिए इन उपदेशों का अर्थ समझ कर इसे जीवन में अपनायें। इसमें श्रीमद्भागवत गीता का यह सरल रूप काफी सहायक होगा। झझापीठ मठ के सच्चिदानंद महाराज ने कहा कि मनुष्य अपने पूरे जीवन में सुख-शांति ढूंढता है। धर्म के अनुसार आचरण करने पर ही इसकी प्राप्ति हो सकती है। भागवत गीता के उपदेश इन आचरणों के लिए हमारा मार्गदर्शन करते हैं।
कार्यक्रम में बोलते हुए श्री शातनु आचार्य ने कहा कि मंजू राय द्वारा इसके सहज रूप का संकलन सराहनीय है। यह संकलन गाव-गाव में आम आदमी तक पहुंचे इसके लिए प्रयास करने की आवश्यकता है। कार्यक्रम में ओडिशा के मुख्य सचिव गोकुल चंद्र पति विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित थे। मंच संचालन श्री मृत्युंजय रथ ने किया जबकि कार्यक्त्रम का समन्वय श्री गुरू राय ने किया।

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