Saturday, February 28, 2015

राजस्थान के स्कूली छात्रा ने गौमूत्र से बना दी बिजली !

फाल्गुन शुक्ल पक्ष दशमी, कलियुग वर्ष ५११६
राजसमंद (राजस्थान) - राजसमंद जिले के नाथद्वारा में ८वीं कक्षा में पढने वाली १३ वर्षीय साक्षी दशोरा ने गौमूत्र से बिजली तैयार की है । मावली के गडवाडा व्यास एकेडमी की इस छात्रा ने गाय के गोबर और गौमूत्र साइंटिफिक यूज बताते हुए “इम्पॉटेंस ऑफ काऊब्रीड इन २१ सेंचुरी” प्रोजेक्ट बनाया है। मिनिस्ट्री ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी के इंस्पायर अवार्ड के तहत उसके प्रोजेक्ट को अब इंटरनेशनल लेवल पर पहचान मिलेगी। ये प्रोजेक्ट दो माह बाद जापान में आयोजित सात दिवसीय सेमिनार में प्रदर्शित होगा। वहां साक्षी व्याख्यान भी देगी।
साक्षी ने अगस्त २०१४ में हुई प्रदर्शनी में इस प्रोजेक्ट के लिए उदयपुर जिले में छटी रैंक, फिर सितम्बर में डूंगरपुर में आयोजित राज्य स्तरीय प्रदर्शनी में १२ वीं रैंक और इसके बाद नेशनल लेवल दूसरी रैंक हासिल की थी। साक्षी सहित प्रदेश के अन्य तीन बच्चों का भी जापान के लिए चयन हुआ है। साक्षी ने बताया कि गौमूत्र में सोडियम, पोटेशियम, मेग्नीशियम, सल्फर एवं फास्फोरस की मात्रा रहती है।
उन्होंने प्रोजेक्ट में एक लीटर गौमूत्र में कॉपर और एल्युमिनियम की इलेक्ट्रोड डाली जिसे वायर के जरिए एलईडी वॉच से जोडा। बिजली पैदा होते ही वॉच चलने लगी। गौमूत्र की मात्रा के अनुसार बिजली पैदा होगी। बता दें, गौमूत्र कैंसर सहित अन्य बीमारियों से भी बचा सकता है। गोबर से लेप करें तो तापमान कंट्रोल रहेगा। इससे अगरबत्ती भी बनाई जा सकती है।

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